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2025 में किसानों के लिए टॉप 5 सरकारी फंडिंग योजनाएं, जानिए कैसे उठाएं लोन, सब्सिडी और डिजिटल मार्केटिंग का फायदा

2025 में किसानों के लिए टॉप 5 सरकारी फंडिंग योजनाएं, जानिए कैसे उठाएं लोन, सब्सिडी और डिजिटल मार्केटिंग का फायदा

भारत की अर्थव्यवस्था का आधार कृषि है। देश की जीडीपी में कृषि का लगभग 18% योगदान है, और देश की लगभग 60% आबादी आज भी खेती-किसानी पर निर्भर है। फिर भी देश के कई किसान और एग्री बिजनेस से जुड़े उद्यमी आर्थिक तंगी से जूझ रहे हैं। खेती की सही तकनीक, उन्नत बीज, खाद, सिंचाई के साधन या प्रोसेसिंग यूनिट के लिए फंडिंग की कमी उनके विकास को रोक देती है। इसी समस्या को ध्यान में रखते हुए भारत सरकार समय-समय पर किसानों के लिए विशेष योजनाएं और ग्रांट्स लेकर आती है।

इस लेख में हम आपको वर्ष 2025 में किसानों के लिए उपलब्ध पाँच प्रमुख सरकारी योजनाओं के बारे में बताएंगे, जिनके अंतर्गत किसान भाई आर्थिक सहायता प्राप्त कर सकते हैं। आप जानेंगे हर योजना की योग्यता, आवेदन प्रक्रिया और उससे मिलने वाले लाभ के बारे में।

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1. प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना

यह योजना छोटे और सीमांत किसानों के लिए बनाई गई है। इसके तहत किसानों को सालाना ₹6000 की वित्तीय सहायता दी जाती है, जिसे ₹2000 की तीन किश्तों में उनके खातों में स्थानांतरित किया जाता है। इस योजना का लाभ लेने के लिए किसान के पास आधार कार्ड और बैंक खाता होना अनिवार्य है।

आप इस योजना में PM Kisan की आधिकारिक वेबसाइट पर जाकर आवेदन कर सकते हैं। योजना का उद्देश्य किसानों को खेती के दैनिक खर्चों के लिए सहारा देना है ताकि वे बीज, खाद और उपकरण खरीद सकें।

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2. एग्रीकल्चर इंफ्रास्ट्रक्चर फंड (AIF)

यह योजना उन किसानों और एग्री बिजनेस से जुड़े उद्यमियों के लिए है जो अपने खेत, भंडारण, प्रोसेसिंग यूनिट या अन्य इंफ्रास्ट्रक्चर को विकसित करना चाहते हैं। इस योजना के अंतर्गत ₹2 करोड़ तक का ऋण उपलब्ध कराया जाता है, जिस पर सरकार 3% ब्याज सब्सिडी देती है।

किसान इस योजना के लिए बैंक, एनबीएफसी या एआईएफ की आधिकारिक वेबसाइट से आवेदन कर सकते हैं। इसका लाभ कोल्ड स्टोरेज, फूड प्रोसेसिंग यूनिट्स, वेयरहाउस आदि बनाने में उठाया जा सकता है।

3. किसान क्रेडिट कार्ड (KCC)

किसान क्रेडिट कार्ड स्कीम विशेष रूप से उन किसानों के लिए है जो अल्पकालिक कृषि ऋण की आवश्यकता रखते हैं। इस योजना के तहत किसानों को ₹3 लाख तक का ऋण बहुत ही कम ब्याज दर पर मिल सकता है।

किसी भी सरकारी बैंक में जाकर किसान इस योजना के लिए आवेदन कर सकते हैं। इससे बीज, खाद, कीटनाशक, कृषि उपकरण इत्यादि की खरीदारी के लिए तुरंत ऋण मिल सकता है। इस कार्ड के माध्यम से किसान जरूरत के समय तत्काल नकदी प्राप्त कर सकते हैं।

4. पीएमएफएमई योजना (PMFME)

प्रधानमंत्री फॉर्मलाइजेशन ऑफ माइक्रो फूड प्रोसेसिंग एंटरप्राइजेज योजना छोटे और मध्यम फूड प्रोसेसिंग यूनिट्स और स्टार्टअप्स को बढ़ावा देने के लिए है। इस योजना के अंतर्गत 35% तक की क्रेडिट लिंक्ड सब्सिडी मिल सकती है।

किसान और उद्यमी PMFME पोर्टल पर जाकर आवेदन कर सकते हैं। योजना का उद्देश्य कृषि उत्पादों के प्रसंस्करण को बढ़ावा देना है ताकि किसान अपनी फसल का अधिक मूल्य प्राप्त कर सकें।

5. ई-नाम (e-NAM) – नेशनल एग्रीकल्चर मार्केट

ई-नाम एक डिजिटल मार्केटप्लेस है जिसे किसानों को उचित दाम दिलाने के लिए शुरू किया गया है। इसके अंतर्गत किसान और एफपीओ (फार्मर्स प्रोड्यूसर ऑर्गेनाइजेशन) सीधे अपने उत्पाद ऑनलाइन बेच सकते हैं।

ई-नाम पोर्टल पर पंजीकरण करके किसान बिना किसी बिचौलिये के सीधे खरीदारों से संपर्क कर सकते हैं और अपनी फसल का अच्छा मूल्य प्राप्त कर सकते हैं। यह पूरी प्रक्रिया पारदर्शी होती है और किसानों को डिजिटल व्यापार का अनुभव भी मिलता है।

निष्कर्ष

2025 किसानों के लिए नई संभावनाओं और सरकारी सहयोग का वर्ष है। यदि किसान इन योजनाओं की सही जानकारी प्राप्त करें और प्रक्रिया को समझकर आवेदन करें तो उन्हें खेती के लिए न केवल आवश्यक संसाधन मिल सकते हैं, बल्कि उनकी आमदनी भी बढ़ सकती है।

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