मूंग की खेती भारत में विशेष रूप से मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश, महाराष्ट्र, गुजरात समेत कई राज्यों में बड़े पैमाने पर की जाती है।
मूंग की सर्वश्रेष्ठ किस्में
अगर आप 2025-26 के ग्रीष्मकालीन या बसंतकालीन मौसम में मूंग की खेती करने की सोच रहे हैं, तो आपके लिए कुछ बेहतरीन किस्मों की जानकारी यहाँ दी जा रही है। इन किस्मों की खासियत यह है कि ये सभी प्रकार की मिट्टियों और लगभग सभी राज्यों में अच्छा प्रदर्शन करती हैं। इनमें से कुछ किस्मों से आप एक एकड़ में 7 क्विंटल से लेकर 11 क्विंटल तक की पैदावार प्राप्त कर सकते हैं, अगर सही तरीके से खेती की जाए। आइए विस्तार से जानते हैं इन किस्मों के बारे में।
आईपीएम 410-3 (शिखा वैरायटी)
शिखा वैरायटी को मूंग के किसानों में काफी लोकप्रियता मिली है। यह किस्म औसत से अधिक उत्पादन देने की क्षमता रखती है। हल्की मोजेक वायरस समस्या आ सकती है, लेकिन यदि सही स्प्रे शेड्यूल अपनाया जाए और फसल की उचित देखभाल की जाए, तो इससे 8-10 क्विंटल प्रति एकड़ पैदावार मिल सकती है। कानपुर में 2016 में विकसित की गई यह किस्म लगभग 65-70 दिनों में तैयार हो जाती है। इसे मार्च में ग्रीष्म और बसंत ऋतु में बोया जा सकता है।
बुवाई के लिए प्रति एकड़ 8-10 किलोग्राम बीज की आवश्यकता होती है। पंक्ति से पंक्ति की दूरी 22-24 सेंटीमीटर और बुवाई की गहराई 1.5-2 इंच रखनी चाहिए। 5 मार्च से 15 मार्च के बीच इसका बोना सबसे उत्तम समय माना जाता है। इस किस्म में चार से पांच सिंचाई की आवश्यकता होती है, और पौधे का फैलाव भी अच्छा होता है।
पूसा 1431
नई दिल्ली में 2018 में विकसित पूसा 1431 किस्म मोजेक वायरस के प्रति सहनशील है और 55-62 दिनों में तैयार हो जाती है। इससे प्रति एकड़ 7-9 क्विंटल पैदावार ली जा सकती है। मार्च में इसकी बुवाई की जा सकती है, और यह दोमट भूमि पर भी बेहतरीन परिणाम देती है। यदि आपके पास कम अवधि है और आप जल्दी उपज चाहते हैं, तो पूसा 1431 आपके लिए एक बेहतरीन विकल्प है। इस किस्म के लिए भी चार सिंचाई पर्याप्त मानी जाती हैं।
डबल तलवार मूंग
डबल तलवार मूंग अपनी लंबी और मोटी फलियों के लिए जानी जाती है। इस किस्म को बोने पर पांच सिंचाई की आवश्यकता होती है और 70 दिनों में फसल तैयार हो जाती है। अच्छी देखभाल के साथ इससे प्रति एकड़ 7-10 क्विंटल तक पैदावार ली जा सकती है। जिन क्षेत्रों में पर्याप्त पानी की व्यवस्था है, वहां यह किस्म विशेष रूप से फायदेमंद सिद्ध हो सकती है।
आईपीएम 2057 (विराट मूंग)
विराट मूंग किस्म, जिसे आईपीएम 2057 के नाम से जाना जाता है, 55-60 दिनों में तैयार हो जाती है। इससे प्रति एकड़ 8-9 क्विंटल उपज मिल सकती है। इसके पौधों की ऊंचाई 50-65 सेंटीमीटर तक होती है, और चार सिंचाई की जरूरत होती है। मोजेक वायरस के प्रति यह किस्म भी काफी हद तक सहनशील है, लेकिन समय-समय पर सफेद मक्खी, माइट्स, थ्रिप्स आदि के लिए स्प्रे शेड्यूल चलाना जरूरी होता है।
वंसी गोल्ड मूंग
वंसी गोल्ड मूंग का दाना बड़ा और फलियां गुच्छेदार होती हैं। यह किस्म 65-70 दिनों में तैयार हो जाती है और इससे प्रति एकड़ 8-10 क्विंटल तक उपज ली जा सकती है। वंसी गोल्ड को लगाने पर लगभग 70-72 दिन का समय लग जाता है, इसलिए इसे पर्याप्त समय और सिंचाई के इंतजाम के साथ बोया जाना चाहिए।
स्टार 444 मूंग
स्टार एग्री सीट्स की स्टार 444 किस्म हाल के वर्षों में तेजी से लोकप्रिय हुई है। यह किस्म 60-65 दिनों में तैयार होती है और पौधे की ऊंचाई 56-60 सेंटीमीटर तक होती है। इसका दाना मध्यम आकार का और फलियां लंबी होती हैं। मोजेक वायरस के प्रति सहनशील यह किस्म प्रति एकड़ 7-11 क्विंटल तक उपज देने की क्षमता रखती है। प्रति एकड़ 8-10 किलोग्राम बीज की आवश्यकता होती है और पंक्ति से पंक्ति की दूरी 22-24 सेंटीमीटर रखनी चाहिए। फूलों की अच्छी सेटिंग और मजबूत फैलाव इसकी विशेषता है।
अन्य लोकप्रिय किस्में और जरूरी सुझाव
इसके अलावा आईपीएम सूर्या 512, हम 16, विजेता, और एमएच 1142 जैसी किस्में भी क्षेत्रीय आधार पर बेहतरीन प्रदर्शन करती हैं। किस्म का चयन करते समय आपके खेत की मिट्टी, सिंचाई की सुविधा, और उपलब्ध समय का ध्यान रखना जरूरी है।
यदि आपके पास कम पानी और समय की कमी है, तो 60 दिनों में तैयार होने वाली किस्में चुनें। वहीं, यदि आपके पास पर्याप्त पानी और समय है, तो 70-72 दिन वाली किस्में अधिक उपज दे सकती हैं। मूंग की बुवाई का सबसे उपयुक्त समय 5 मार्च से 15 मार्च के बीच होता है। समय पर बुवाई करने से न केवल अच्छी पैदावार मिलती है, बल्कि कटाई के समय मानसून से जुड़ी समस्याओं से भी बचा जा सकता है।
खेतों की अच्छी तैयारी करें और सुनिश्चित करें कि सिंचाई के साधन उपलब्ध हों। मूंग ऐसी फसल है, जो कम समय में अधिक आमदनी देने की क्षमता रखती है, बशर्ते समय पर सही किस्म का चयन किया जाए और उचित देखभाल की जाए।

मेरा नाम छोटन राय है और मै एक ब्लॉगर हु और sacchikheti.com का founder हु और मै इस वेबसाइट ब्लॉग के माध्यम से हम सभी किसान भाइयो को खेती से जुडी अपडेट देते है साथ ही खेती से जुडी योजना एवं कृषि बिजनेस आइडियाज के बारे में भी बताते है,मुझे कंटेंट राइटिंग करते हुए 6 सालो का अनुभव है|