नाबार्ड डेरी लोन योजना 2025: किसानों और पशुपालकों के लिए पूरी जानकारी

By Purushottam Bisen

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नाबार्ड डेरी लोन योजना 2025

अगर आप किसान या पशुपालक हैं और डेरी का व्यवसाय शुरू करना या उसे आगे बढ़ाना चाहते हैं, लेकिन आपके पास पूंजी की कमी है, तो नाबार्ड डेरी लोन योजना आपके लिए एक बेहतरीन मौका है। इस योजना के तहत आप बैंक से लोन लेकर अपने डेरी बिजनेस को शुरू या विस्तार कर सकते हैं।

नाबार्ड डेरी लोन योजना क्या है?

सबसे पहले यह समझना जरूरी है कि नाबार्ड क्या है। नाबार्ड का पूरा नाम नेशनल बैंक फॉर एग्रीकल्चर एंड रूरल डेवलपमेंट है, जिसकी स्थापना 1982 में भारत की तत्कालीन प्रधानमंत्री श्रीमती इंदिरा गांधी द्वारा की गई थी। नाबार्ड का उद्देश्य कृषि और ग्रामीण विकास को बढ़ावा देना है। यह संस्था सीधे लोन नहीं देती, बल्कि बैंकों को रिफाइनेंस करती है, जिससे बैंक किसानों को कम ब्याज दर पर ऋण दे सकें।

नाबार्ड के तहत लोन कैसे मिलता है?

जब आप डेरी व्यवसाय के लिए लोन लेना चाहते हैं, तो आपको सीधे नाबार्ड में नहीं, बल्कि अपने नजदीकी बैंक में आवेदन करना होता है। बैंक आपके आवेदन की जांच करता है और उसे नाबार्ड के पास रिफाइनेंस के लिए भेजता है। नाबार्ड बैंक को फंड मुहैया कराता है, जिससे बैंक आपको कम ब्याज दर पर लोन देता है।

अगर आप नाबार्ड के तहत लोन लेते हैं, तो आपको 4% से 5% की कम ब्याज दर पर लोन मिल सकता है, साथ ही अगर कोई सरकारी सब्सिडी योजना चल रही है, तो उसका लाभ भी मिल सकता है। इसलिए बैंक में आवेदन करते समय यह स्पष्ट कर दें कि आप नाबार्ड स्कीम के तहत लोन लेना चाहते हैं।

डेरी लोन के लिए जरूरी दस्तावेज

डेरी लोन के लिए कुछ मुख्य दस्तावेजों की जरूरत होती है। सबसे पहले, आपको डेरी व्यवसाय की ट्रेनिंग लेनी होती है, जो आमतौर पर 7 से 10 दिनों की होती है। ट्रेनिंग पूरी होने के बाद आपको एक सर्टिफिकेट दिया जाता है, जो लोन आवेदन के लिए जरूरी है।

इसके अलावा, आपके पास व्यवसाय की प्रोजेक्ट रिपोर्ट होनी चाहिए, जिसमें व्यवसाय की पूरी जानकारी शामिल हो, जैसे कि कितने पशु होंगे, उनकी नस्ल, दूध का उत्पादन, बिक्री की योजना, लेबर, शेड व्यवस्था, चारे की व्यवस्था और अनुमानित मुनाफा आदि। इस रिपोर्ट को आमतौर पर सीए (चार्टर्ड अकाउंटेंट) से तैयार करवाना बेहतर होता है।

भूमि से संबंधित दस्तावेजों में आपकी खुद की जमीन की रजिस्ट्री या जमाबंदी, या लीज पर ली गई भूमि का रजिस्टर्ड लीज एग्रीमेंट शामिल है। लीज एग्रीमेंट कम से कम 10 वर्षों का होना चाहिए।

केवाईसी दस्तावेजों में आधार कार्ड, वोटर आईडी, ड्राइविंग लाइसेंस, राशन कार्ड, पासपोर्ट, बिजली बिल, पैन कार्ड, बैंक अकाउंट डिटेल्स, मोबाइल नंबर और ईमेल आईडी शामिल होते हैं। यदि आप एससी, एसटी, ओबीसी जैसी विशेष श्रेणियों से आते हैं, तो जाति प्रमाण पत्र भी जोड़ें। साथ ही, अगर आपके पास डेरी व्यवसाय का पिछला अनुभव है, तो उसका प्रमाण पत्र और यदि आप इनकम टैक्स भरते हैं, तो आईटीआर की कॉपी तथा पिछले छह महीनों का बैंक स्टेटमेंट भी शामिल करें।

बैंक की शर्तें और लोन स्वीकृति प्रक्रिया

बैंक सबसे पहले आपकी प्रोजेक्ट रिपोर्ट की जांच करेगा ताकि यह सुनिश्चित हो सके कि आपका व्यवसाय व्यावहारिक है और उसमें लाभ की संभावना है। इसके अलावा, बैंक आपका सिबिल स्कोर भी देखेगा, जिससे यह पता चलता है कि आपकी क्रेडिट हिस्ट्री कैसी रही है। अगर आपका सिबिल स्कोर अच्छा है, तो लोन जल्दी और कम ब्याज पर स्वीकृत हो सकता है।

बैंक यह भी देखेगा कि आपके पास अपनी या लीज पर ली गई भूमि की व्यवस्था है या नहीं, और आपके केवाईसी दस्तावेज पूरे हैं या नहीं। इसके बाद, बैंक अधिकारी आपके लोकेशन का प्री-वेरिफिकेशन करेंगे, जिसमें शेड, चारे की व्यवस्था और पशु रखने की जगह की जांच की जाएगी।

पशुओं की खरीद के समय, उनके हेल्थ सर्टिफिकेट और इंश्योरेंस दस्तावेज बैंक में जमा कराने होते हैं। लोन स्वीकृति के बाद, पोस्ट-वेरिफिकेशन भी किया जाता है, ताकि यह सुनिश्चित हो सके कि आप व्यवसाय की योजना के अनुसार सब कुछ कर रहे हैं।

आवेदन की प्रक्रिया

जब आपके पास सभी दस्तावेज तैयार हों और ट्रेनिंग पूरी हो जाए, तो आप अपने नजदीकी बैंक में लोन विभाग में जाएं। वहां से आवेदन फॉर्म लें, उसे ध्यान से भरें और सभी दस्तावेजों को क्रमवार लगाकर फाइल तैयार करें। फाइल को बैंक में जमा करें और स्पष्ट रूप से बता दें कि आप नाबार्ड योजना के तहत डेरी लोन लेना चाहते हैं। इसके बाद बैंक आवेदन की जांच करेगा, आवश्यक दस्तावेज और शर्तें पूरी होने पर लोन स्वीकृत किया जाएगा।

ध्यान रखें, लोन की राशि सीधे उन विक्रेताओं के खातों में भेजी जाएगी, जिनसे आप पशु या अन्य आवश्यक सामग्री खरीद रहे हैं। इस प्रक्रिया में पारदर्शिता बनाए रखने के लिए सभी बिल और दस्तावेज बैंक को देने होंगे।

नाबार्ड योजना के अन्य लाभ

नाबार्ड योजना के तहत केवल डेरी व्यवसाय ही नहीं, बल्कि पोल्ट्री फार्मिंग, फिशरी फार्मिंग, और अन्य कृषि व्यवसायों के लिए भी लोन लिया जा सकता है। इसलिए, अगर आप किसान या पशुपालक हैं, तो इस योजना का लाभ उठाकर अपने व्यवसाय को नई ऊंचाइयों तक पहुंचा सकते हैं।

निष्कर्ष

नाबार्ड डेरी लोन योजना किसानों और पशुपालकों के लिए एक शानदार अवसर है। सही तैयारी, दस्तावेज, और जानकारी के साथ आप इस योजना का लाभ उठा सकते हैं और कम ब्याज दरों पर लोन लेकर अपने व्यवसाय को आगे बढ़ा सकते हैं। उम्मीद है, यह लेख आपको मददगार लगा होगा। अगर आपको यह जानकारी उपयोगी लगी हो, तो इसे दूसरों के साथ जरूर साझा करें और अपनी प्रतिक्रिया देना न भूलें!

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